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किसानों के गायब होने की उच्चस्तरीय न्यायिक जांच हो
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Publised on : 2011:06:12       Time 23:12                      Update on  2011:06:12       Time  23:12
-किसान बचाओ यात्रा की समाप्ति पर भाजपा की रिपोर्ट जारी

लखनऊ, जाब्यू : यमुना एक्सप्रेस वे प्रभावित क्षेत्रों में किसान बचाओं यात्रा समाप्त कर लौटे भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कलराज मिश्र ने किसानों के उत्पीड़न पर रिपोर्ट जारी करते हुए आरोप लगाया कि भट्टा पारसौल में हुए पुलिसिया अत्याचार के बाद 2420 लोग अभी गायब है। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश से घटना की जांच कराने की मांग की। भाजपा सरकार आने पर बसपा शासन काल में भूमि अधिग्रहण के मामलों की आयोग से जांच कराने की बात कही।

पार्टी मुख्यालय में रविवार को आयोजित पत्रकार वार्ता में किसान यात्रा को कामयाब बताते हुए मिश्रा ने आरोप लगाया कि सात मई को भट्टा पारसौल के किसानों पर हुए बर्बर अत्याचार का आतंक क्षेत्र में आज भी कायम है। उन्होंने सरकार की भूमि अधिग्रहण की नई नीति को धोखा बताते हुए आरोप लगाया कि जिन किसानों की पुश्तैनी जमीनें लूटी जा चुकी है। उन्हें कोई राहत नहीं दी। प्राइवेट बिल्डर्स आज भी मजे में है।

उन्होंने बताया कि भाजपा के दबाव में भट्टा पारसौल से धारा 144 हटा और बाद में वहां शनिवार को पंचायत हुई, जिसमें ग्रामीणों ने पुलिस के अत्याचारों के बारे में जानकारी दी। कहा कि वीभत्स कांड की सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश से जांच कराने के बाद ही सच्चाई सामने आ सकेगी।

पत्रकारों को रिपोर्ट जारी करते हुए मिश्रा ने बताया कि 22 किसान आज भी जेल में है। करीब 12 हजार की आबादी में से लगभग 2420 लोग आज भी गायब है, हालांकि गायब किसानों की सूची देने से उन्होंने आनाकानी की। उनका कहना था कि नब्बे प्रतिशत भूसे का स्टाक जला देने के कारण पशुओं के भूखे मरने की नौबत है। खाद्यान्न की व्यवस्था न होने से खाने पीने की किल्लत हो रही है। लोगों को कई कई दिन भूखा रहना पड़ता है। किसानों के कृषि यंत्र भी आग के हवाले कर दिए, घरों में तोड़फोड़ हुई। गांवों में ईधन का संकट भी पैदा हो गया है।

उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार आयी तो बसपा शासन में हुए भूमि अधिग्रहण के मामलों की जांच होगी। गड़बड़ी मिली तो अधिग्रहण निरस्त होगा। किसानों की कानूनी लड़ाई भाजपा लड़ेगी। आंदोलन में मरे किसानों को शहीद का दर्जा दिलायेंगे। दोषी अधिकारी दंडित होंगे। किसानों की मर्जी बिना भूमि अधिग्रहण नहीं होने देंगे। प्रदेश के अन्य क्षेत्रों में भी किसान यात्राएं जुलाई माह से निकाली जायेगी। यात्रा में साध्वी उमा भारती के शामिल होने के सवाल पर उन्होंने कोई टिप्पणी नहीं की।

साभार जागरण डाट काम

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